मौलाना तौकीर अहमद ने मोदी और योगी को इस्लाम स्वीकार करने को कहा ,देखे वीडियो

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The Bikaner Times – इस्लाम धर्म में दाई का काम करने वाले मौलाना का एक बयान सामने आया हैं जिसमे उसने कहा की –

“मैं सीएम योगी और मोदी जी को इस्लाम स्वीकार करने के लिए आमंत्रित करना चाहता हूं…अगर वे धर्म परिवर्तन करते हैं, तो बहुत सारी चीजें बेहतर हो जाएंगी। भारत में 2014 से अब तक 20 लाख लोग मुस्लिम बन गए हैं। हमारा लक्ष्य शरिया कानून लागू करना है। इंशाल्लाह, अफगानिस्तान की तरह ही शरिया आएगा, जहां से अमेरिका को भगाया गया था”.

ये एक #TablighiJamaat मौलाना तौकीर अहमद के शब्द हैं, जो एक दाई के रूप में काम कर रहे हैं यानी दावा देने या इस्लाम धर्म का प्रचार करने में शामिल हैं।

एक इंटरव्यू में मौलाना ने धर्मांतरण के लिए इस्लामी मुल्कों से फंडिंग मिलने की बात भी कबूली है। साथ ही उन्होंने कहा है कि, अफगानिस्तान की तरह भारत में भी एक दिन शरिया राज लागू होगा।

इस्लामी धर्मान्तरण के 99 फीसद मामलों के लिए तब्लीगी जमात जिम्मेदार:-

मौलाना ने बताया कि देश में हो रहे इस्लामी धर्मांतरण के 99 फीसद मामलों के लिए अकेला तबलीगी जमात जिम्मेदार है। जमात के दाई लोगों के बारे में बात करते हुए मौलाना ने कहा कि ये वो लोग हैं जो गैर मुस्लिमों को दीन इस्लाम की दावत देते हैं। उसने कहा कि दावत देने के दौरान गैर मुस्लिमों को कुरान की आयतें, हदीसों और गुजरे वक़्त में नबियों द्वारा लोगों को समझाई गई चीजों के बारे में जानकारी दी जाती है। मौलाना ने बताया कि दाई का प्रमुख काम लोगों को अपनी ओर खींचना है। वे गैर-मुस्लिमों को बताते हैं कि पहले जिन लोगों ने नबियों की बातें नहीं मानी, उनको सजा भुगतनी पड़ी थी।

मौलाना के अनुसार मूर्ति पूजा करने वाले (हिन्दू) भटके हुए लोग :-

मौलाना तौकीर अहमद ने खुद को भी दाई बताते हुए कहा कि वो अभी भी लोगों को इस्लाम कबूल कर मुस्लिम बनने की दावत दे रहे हैं। अपनी मजहबी किताब का हवाला देते हुए मौलाना ने कहा कि संसार के पहले इंसान आदम और उनकी जात से खुदा ने केवल खुद को पूजने (केवल अल्लाह को पूजने) और बुतपरस्ती न करने (मूर्ति न पूजने) का वादा लिया था। मूर्ति पूजने वालों को भटका हुआ करार देते हुए मौलाना कहते हैं कि उन्हें अल्लाह की इबादत की तरफ लाने की आवश्यकता है।

9 साल में 20 लाख गैर-मुस्लिमों को बनाया मुसलमान :-

तौकीर ने दावा करते हुए कहा कि वर्ष 2014 से अब तक पूरे देश में तक़रीबन 20 लाख गैर मुस्लिमों को मुसलमान बनाया जा चुका हैं। मौलाना ने आगे कहा कि तबलीगी जमात के सदस्य ज्यादा से ज्यादा लोगों को इस्लाम कबूल करवाने की कोशिश में रहते हैं। तौकीर अहमद ने आगे कहा कि, मुस्लिमों को UCC से कोई समस्या नहीं होनी चाहिए, क्योंकि वो अपने मुख्य लसखी शरिया कानून को लागू करने की कोशिश में लगे हुए हैं। मौलाना ने कहा कि, ‘इंशाअल्लाह (भारत में) शरिया कानून आएगा। आप अफगानिस्तान में देख लीजिए वहाँ शरिया कानून लागू हुआ। अमेरिका था वहाँ। सबको भगा दिया।’

सबको अल्लाह के रास्ते पर लाना है:-

धर्मांतरण को आवश्यक करार देते हुए हुए मौलाना तौकीर ने कहा कि सबको अल्लाह के एक रास्ते पर लाना है। धर्मांतरण नेटवर्क को ऑपरेट करने वाले मुख्य व्यक्ति के रूप में उन्होंने मौलाना साद, उनके बेटे और हाल ही में जेल से रिहा होकर आए कलीम सिद्दीकी का नाम लिया। मौलाना ने बताया कि इस्लामी धर्मांतरण का नेटवर्क पूरे देश में चल रहा है। इसके लिए अरब देशों और अफगानिस्तान से काफी पैसा आता हैं।

सऊदी अरब साम्राज्य ने इस खतरनाक संगठन को ‘आतंक का प्रवेश द्वार’ बताते हुए इस पर प्रतिबंध लगा दिया है। प्रमुख देवबंदी मौलवी मौलाना अरशद मदनी ने भी तालिबानी कट्टरपंथियों की तुलना गांधी जैसे भारत के स्वतंत्रता सेनानियों से की है.

ऐसे लाखों लोग स्वतंत्र रूप से घूम रहे हैं, इस्लामवादी और प्रचारक दोनों, इस राष्ट्र का इस्लामीकरण या ईसाईकरण करने के लिए काम कर रहे हैं और इस भूमि के मूल लोगों, धर्मियों के खिलाफ जहर फैला रहे हैं। इस बीच, संभ्रांत लोग ‘असहिष्णुता’ और ‘घृणास्पद भाषण’ के लिए हिंदुओं को बदनाम करने और मनगढ़ंत ‘घृणा अपराधों’ पर तत्काल सुनवाई करने में व्यस्त हैं।

इस प्रकार के मौलाना धर्मांतरण के नेटवर्क पर काम करते हैं और लोगो को अपने धर्म के खिलाफ भड़का कर इस्लाम धर्म स्वीकार करवाने का काम करते हैं।इस प्रकार के संघटन पर भारत में भी प्रतिबंध लगाया जाना चाहिए।

मौलाना के इस बयान पर जावेद अख्तर का रिएक्शन –
दरअसल, गुरुवार को हिंदू पोस्ट ने अपने ट्विटर हैंडल पर मौलाना का वीडियो शेयर किया, जिसमें वह प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री योगी के बारे में बात कर रहे थे. इस वीडियो पर शुक्रवार को जावेद अख्तर ने रिप्लाई कर पूछा- यह बुद्धिहीन जोकर कौन है? इसके परिवार ने इसे अभी तक पागलखाने में क्यों नहीं डाला?

प्रतिबंधित संगठन PFI से पूरी तरह मिलती है मौलाना की सोच :-

बता दें कि, इसी तरह की बातें बिहार पुलिस द्वारा कट्टरपंथी संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ़ इंडिया (PFI) का भंडाफोड़ करने के दौरान सामने आई थी, यह संगठन 2047 तक भारत को इस्लामी राष्ट्र बनाने के मिशन पर काम कर रहा था। उस संगठन पर तो सरकार ने बैन लगा दिया, लेकिन अब एक मौलाना, यानी एक धर्मगुरु वही बातें कर रहा है, भारत के हर इंसान को इस्लाम में लाने में लगा हुआ है, आखिर सरकार किस-किसपर बैन लगाएगी ? जिन मूर्तिपूजकों यानी हिन्दुओं को मौलाना भटका हुआ बता रहे हैं, और उन्हें इस्लाम में आने की दावत दे रहे हैं, यदि उन्होंने इस्लाम कबूल करने से इंकार कर दिया, तो उनके साथ क्या किया जाएगा ? क्या औरंगज़ेब की तरह उनका सर कलम किया जाएगा? या फिर 1990 के कश्मीर की तरह उन्हें पलायन करने के लिए मजबूर किया जाएगा ? आखिर अपना विचार किसी पर भी थोपने की यह सनक है ही क्यों ? क्या ऐसा नहीं हो सकता कि, हर कोई अपने धर्म अनुसार चले और दूसरे के धर्म को नीचा दिखाकर उसपर अपने विचार थोपने का प्रयास न करे ?

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